राष्ट्रीय उपलब्धि सर्वेक्षण वाले दिन 60 स्कूलों के गैरहाजिर शिक्षकों के वेतन पर रोक लग गयी है। शिक्षकों के गैरहाजिर रहने की वजह से संबंधित 60 स्कूल राष्ट्रीय उपलब्धि सर्वेक्षण में शामिल नहीं हो पाये।
इन 60 स्कूलों में सहरसा एवं गोपालगंज ,दरभंगा, कैमूर, रोहतास एवं समस्तीपुर के तीन-तीन, औरंगाबाद, लखीसराय, मुजफ्फरपुर एवं सुपौल के दो-दो तथा अररिया, अरवल, बांका, भागलपुर, भोजपुर, गया, जमुई, कटिहार, मधेपुरा, मुंगेर, नालंदा, पूर्वी चंपारण एवं सिवान के एक- एक स्कूल शामिल हैं।आपको याद दिला दूं कि केंद्र सरकार के शिक्षा मंत्रालय के स्कूल शिक्षा और साक्षरता विभाग ने देश के 36 राज्यों एवं केंद्र शासित प्रदेशों के 733 जिलों 12 नवंबर को राष्ट्रीय उपलब्धि सर्वेक्षण कराया है। सर्वेक्षण के लिए देश भर के 1.24 लाख स्कूल चिन्हित किये गये थे।इनमें केंद्र एवं राज्य सरकारों के स्कूलों के साथ ही वित्त सम्पोषित एवं प्राइवेट स्कूल शामिल थे राष्ट्रीय उपलब्धि सर्वेक्षण में जिन राष्ट्रीय उपलब्धि सर्वेक्षण वाले दिन कक्षाओं का असेसमेंट 3री, 5वीं,8वीं एवं 10वीं कक्षा के बच्चों का असेसमेंट हुआ।
बिहार की बात करें, तो राष्ट्रीय उपलब्धि सर्वेक्षण के लिए राज्य के 5,727 स्कूल चिन्हित थे। इसके लिए चिन्हित स्कूलों को उस दिन निश्चित रूप से ससमय खोलने एवं शिक्षक कर्मचारियों को ससमय उपस्थित रहने के निर्देश शिक्षा विभाग के अपर मुख्यसचिव संजय कुमार द्वारा दिये गये थे। इसके साथ ही हर जिले में नोडल अफसर भी तैनात किये गये थे। 5,727 चिन्हित स्कूलों में 1,95,092 बच्चों को सर्वेक्षण में शामिल होना था शिक्षा विभाग को मिली रिपोर्ट के मुताबिक शिक्षकों की गैरहाजिरी की वजह से चिन्हित 5,727 स्कूलों में से।5,667 स्कूल ही राष्ट्रीय उपलब्धि सर्वेक्षण में शामिल हो पाये। इस वजह से सर्वेक्षण में 1,95,092 बच्चों के बदले 1,70,875 बच्चे ही शामिल हो पाये।
शिक्षकों की गैरहाजिरी की वजह से राष्ट्रीय उपलब्धि सर्वेक्षण में शामिल होने से वंचित रह गये 60 स्कूलों के शिक्षक काररवाई के दायरे में आ गये हैं ।बहरहाल, राष्ट्रीय उपलब्धि सर्वेक्षण की रिपोर्ट केंद्र सरकार के शिक्षा मंत्रालय के स्कूल शिक्षा और साक्षरता विभाग द्वारा आगामी अप्रैल माह में जारी करने की तैयारी है।